हेलो ! मैं गांधी हमें एक-दूसरे के धर्म की अच्छी बातों को ग्रहण करना चाहिए: महात्मा गाँधीगाँधी जी की नज़र में धर्म! by editor November 10, 2023 Share this Facebook Messenger Twitter Pinterest Linkedin Whatsapp धर्म अत्यंत व्यक्तिगत वस्तु है। हमें अपने ज्ञान के अनुसार जीवन व्यतीत करके एक-दूसरे की उत्तम बातें ग्रहण करनी चहिये और इस प्रकार ईश्वर को प्राप्त करने के मानव-प्रयत्नों के कुल योग में वृद्धि करनी चाहिए। हरिजन, 28-11-1936 Share this Facebook Messenger Twitter Pinterest Linkedin Whatsapp You might be interested in August 22, 2024 सबसे अच्छा और कारगर तो यह है कि बिल्कुल बचाव न किया जाए, बल्कि अपनी जगह पर कायम रहा जाए। August 13, 2024 हम जिन साधनों को अपना रहे हैं, उनमें हमारी अटल श्रद्धा होनी चाहिये। August 6, 2024 पैगंबरों और अवतारों ने हमें अहिंसा का पाठ पढ़ाया है, एक भी पैगंबर ने हिंसा की शिक्षा देने का दावा नहीं किया। August 5, 2024 अनियंत्रित व्यक्तिवाद जंगली जानवरों का कानून है। हमें व्यक्तिगत स्वातंत्र्य और सामाजिक संयम के बीच के रास्ते पर चलना सीखना होगा।
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