यदि करोड़ों लोगों के पास कोई धंधा न हो, तो वे भूखों मरेंगे और निकम्मे हो जाने के कारण जड़ बन जायेंगे।

मशीनों का अपना स्थान है; उन्होंने अपनी जड़ जमा ली है। परन्तु उन्हें जरूरी मानव-श्रम का स्थान नहीं लेने देना चाहिये। सुधरा हुआ हल अच्छी चीज है।

परन्तु यदि संयोग से कोई एक आदमी अपने किसी यांत्रिक आविष्कार द्वारा भारत की सारी भूमि जोत सके और खेती की तमाम पैदावार पर नियंत्रण कर ले और यदि करोड़ों लोगों के पास कोई और धंधा न हो, तो वे भूखों मरेंगे और निकम्मे हो जाने के कारण जड़ बन जायेंगे।आज भी बहुत लोग बन गये हैं और हर क्षण यह डर रहता है कि अनेक और भी लोगों की वैसी ही दुर्दशा हो जाएगी।